शराब 🍺 के उस बार के सामने एक छोटा सा तालाब था।
झमाझम ☔ बारिश हो रही थी और उस ☔ बारिश में पूरा भीगा हुआ एक बुजुर्ग आदमी एक छड़ी पकड़े था जिससे बँधा धागा तालाब के पानी में डूबा हुआ था।
एक 🚶राहगीर ने उससे पूछा—” क्या कर रहे हो बाबा ? ”
बुजुर्ग—” 🐠 मछली पकड़ रहा हूँ। ”
राहगीर बारिश में भीगे उस बुजुर्ग को देख बहुत दुखी हुआ।
बोला—” बाबा, मैं बार में 🍺 व्हिस्की पीने जा रहा हूँ। आओ तुम्हें भी एक 🍸पैग पिलाता हूँ। ऐंसे तो तुम्हे सर्दी लग जायेगी। आओ अंदर चलें। “🚶🚶
बार के गर्म माहौल में बुजुर्ग के साथ 🍸🍺🍸व्हिस्की पीते महाशय ने बुजुर्ग से पूछा—” हाँ तो, बाबा, आज कितनी 🐠🐠 मछलियाँ फसीं ? ”
बुजुर्ग बोला—” तुम आठवीं 🐠 मछली हो, बेटा! “